Plane Crash: नीरज-अपर्णा लवानिया की लंदन यात्रा बनी अंतिम सफर, अहमदाबाद विमान हादसे ने छीनी परिवार खुशियां

Neeraj Arpana Lavania Plane Crash
X

अहमदाबाद विमान हादसे में आगरा के नीरज-अपर्णा लवानिया की मौत। 

अहमदाबाद विमान हादसे में आगरा के नीरज और अपर्णा लवानिया की दर्दनाक मौत। अपर्णा का 50वां जन्मदिन मनाने लंदन जा रहे थे। पढ़ें पूरी कहानी।

Ahmedabad Plane Crash: एक खुबसूरत शादीशुदा जोड़ा, जन्मदिन का खास जश्न और दुनिया देखने का सपना, लेकिन किस्मत को कुछ और मंजूर था। अहमदाबाद विमान हादसे में आगरा के नीरज और अपर्णा लवानिया की दर्दनाक मौत हो गई। दोनों लंदन में अपर्णा का 50वां जन्मदिन मनाने जा रहे थे।

गुरुवार दोपहर 1:38 बजे एयर इंडिया की फ्लाइट ने अहमदाबाद से उड़ान भरी थी, लेकिन महज 2 मिनट बाद दुर्घटनाग्रस्त हो गई। विमान में 230 यात्री और 12 क्रू मेंबर सवार थे। लगभग सभी की मौत हो गई। भारत के हालिया इतिहास में यह सबसे दुखद विमान दुर्घटनाओं में से एक है।

बड़े भाई से हुई आखिरी बात
नीरज के बड़े भाई सतीश लवानिया ने बताया, सुबह नीरज से आखिरी बार बात हुई थी। उन्होंने कहा था कि 12 घंटे में लंदन पहुंच जाएंगे, लेकिन दोपहर में मिली हादसे की सूचना ने हमें अंदर तक झकझोर दिया। मोबाइल मिलाया, लेकिन बात नहीं हो पाई। बाद में पता चला कि हादसे में सब कुछ खत्म हो चुका है।

मां-बाप दोनों को खो चुकी बेटी
नीरज और अपर्णा की 15 वर्षीय बेटी है, जो हादसे के समय नानी के घर में थी। हादसे की खबर सबसे पहले उसी ने ही परिवार को बताया। बाद में एयर इंडिया द्वारा जारी यात्रियों की सूची से भी पुष्टि हुई कि नीरज और अपर्णा सीट नंबर 38 और 39 पर सवार थे, जो अब इस दुनिया में नहीं हैं।

कौन थे नीरज लवानिया?

  • नीरज लवानिया मूलत: उत्तर प्रदेश में आगरा जिले के अकोला निवासी थे। गांव की सरस्वती विद्या मंदिर, चाहरवाटी इंटर कॉलेज और फिर आगरा कॉलेज से (B.Sc.) और MBA किया।
  • जयपुर, दिल्ली, पुणे, हैदराबाद और नीदरलैंड की नामी कंपनियों में काम किया। वर्तमान में वह एसी नेल्सन (NelsonIQ) में मैनेजर थे। साथ ही वडोदरा (गुजरात) की फेदर स्काई कॉलोनी में परिवार के साथ रहते थे।

विमान हादसे में 265 मौतें, सिर्फ एक यात्री बचा
अमहदाबाद विमान हादसे में 169 भारतीय यात्रियों सहित 265 लोगों की मौत हुई है। इनमें गुजरात के पूर्व मुख्यमंत्री विजय रूपाणी भी शामिल हैं। विमान में 103 पुरुष, 114 महिलाएं, 11 बच्चे, 2 नवजात और 12 क्रू मेंबर्स थे। इनमें से सिर्फ एक यात्री रमेश विश्वास की जान बची है।

WhatsApp Button व्हॉट्सऐप चैनल से जुड़ें WhatsApp Logo

Tags

Next Story