फ्रांस में संदिग्ध मौत : 2 माह 20 दिन बाद नसीब हुई पिहोवा के सुशील के शव को अपनी मिट्टी

body of Sushil Kumar reached Pehowa village in Kurukshetra from France.
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फ्रांस से कुरुक्षेत्र के पिहोवा गांव पहुंचा सुशील कुमार का शव।
फ्रांस में संदिग्ध मौत के शिकार पिहोवा के सुशील का शव दो माह बाद पहुंचा। परिवार का सहारा बनने विदेश गए सुशील का दुखद अंत। परिजनों का फूटा दुख।

Suspicious death in France: हरियाणा के कुरुक्षेत्र के पिहोवा निवासी सुशील कुमार, जिनकी फ्रांस में संदिग्ध परिस्थितियों में मौत हो गई थी, का शव आखिरकार दो माह और 20 दिन के लंबे इंतजार के बाद अपने पैतृक गांव पहुंचा। पिछले वर्ष जनवरी माह में बेहतर भविष्य की तलाश में फ्रांस गए सुशील की मौत की खबर परिजनों को 16 फरवरी को मिली थी। आज जब उनका पार्थिव शरीर घर पहुंचा तो परिवार में कोहराम मच गया।

परिवार का आर्थिक सहारा बनने के लिए साल पहले फ्रांस गया था

सुशील कुमार के पिता रोडवेज विभाग से चतुर्थ श्रेणी कर्मचारी के रूप में सेवानिवृत्त हुए थे और बड़ी मुश्किल से अपने परिवार का पालन-पोषण कर रहे थे। इसी कारण सुशील ने विदेश जाकर काम करने का निर्णय लिया था ताकि वह अपने परिवार का आर्थिक सहारा बन सके। उन्होंने लाखों रुपये खर्च कर करीब एक साल पहले फ्रांस में मजदूरी का काम शुरू किया था। लेकिन नियति को कुछ और ही मंजूर था और अचानक परिवार को उनकी मौत की दुखद सूचना मिली।

परिवार वाले शव को भारत लाने के लिए हर संभव प्रयास कर रहे थे

इसके बाद से ही परिवार सुशील के शव को वापस भारत लाने के लिए हर संभव प्रयास कर रहा था। लंबे इंतजार और अथक प्रयासों के बाद आखिरकार आज उनका पार्थिव शरीर पिहोवा पहुंचा। शव के घर पहुंचते ही माहौल गमगीन हो गया और परिजनों का दुख फूट पड़ा। सुशील का असमय निधन न केवल उनके परिवार के लिए, बल्कि पूरे गांव के लिए एक गहरा सदमा है। उनका जाना एक ऐसे युवा का अंत है जो अपने परिवार की उम्मीदों का बोझ अपने कंधों पर लेकर विदेश गया था।

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