हरियाणा में CEI व MVI की होगी जांच: मलाईदार पद के लिए मंत्री अनिल विज को सिफारिश करवाना पड़ा महंगा

हरियाणा के परिवहन, ऊर्जा व श्रम मंत्री अनिल विज।
Anil Vij in action : हरियाणा सरकार में मंत्री अनिल विज को परिवहन और ऊर्जा विभाग के कुछ अहम पदों पर बैठने के लिए सिफारिश कराना महंगा पड़ता दिख रहा है। अब विज ने इस सारे मामले में भ्रष्टाचार की बू आने के बाद मुख्यमंत्री को पत्र लिखकर सीएम फ्लाइंग को मामला सौंपकर जांच के लिए अनुरोध किया है। विज ने मीडिया के पूछे जाने पर पत्र भेजने की बात स्वीकार की है।
सीईआई व एमवीआई पद पर ज्यादा मारामारी
विज ने सीएम फ्लाइंग को जांच के लिए पत्र भेजकर आए दिन सीईआई और एमवीआई जैसे पदों पर ट्रांसफर के लिए आ रही सिफारिशों का जिक्र किया है। इन पदों पर बड़ी संख्या में मारामारी के मामले को समझते हुए उन्होंने इस तरह की सीटों पर शिकंजा कसने के लिए कदम उठा दिया है। अब मंत्री विज द्वारा पत्र लिखे जाने के बाद में दागी कर्मियों और माल कमाने वाले अफसरों में हड़कंप मच गया है।
रिश्तेदारों, करीबियों व नेताओं के आते हैं फोन
हरियाणा के ऊर्जा, परिवहन और श्रम मंत्री अनिल विज ने दरअसल जो पत्र लिखा है, उसमें ऊर्जा विभाग (बिजली महकमे) में चीफ इलेक्ट्रिक इंस्पेक्टर (सीईआई) और परिवहन विभाग में मोटर व्हीकल इंस्पेक्टर (एमवीआई) पदों को लेकर जांच के लिए सीएम फ्लाइंग को पत्र लिख दिया है। बताया गया है कि मंत्री विज को उनके सूत्रों ने अवगत करा दिया था कि इन अहम पदों पर काफी लूटपाट और क्रप्शन फैला होता है। इस तरह से लोग जुगाड़ व सिफारिश कराने के साथ ही इन सीटों पर बैठना चाहते हैं। विज ने कहा कि रोजाना उनके पास इन पदों पर लगने व ट्रांसफर के लिए काफी सिफारिशें आ रहीं हैं। लोगों की अपील होती है कि परिवहन विभाग में एमवीआई में लगा दो और बिजली विभाग में चीफ इलेक्ट्रिकल इंस्पेक्टर लगा दो। इतना ही नहीं यह लोग मंत्री विज पर दबाव भी डालते हैं, साथ ही काम नहीं बनने पर वे प्रभावशाली लोगों, विज के करीबियों को इमोशनल कर मदद की मांग करते हैं। इन सभी बातों को देखते हुए विज ने पूरे प्रदेश में इस तरह की पोस्टों पर बैठे अधिकारयों, कर्मियों को लेकर जांच करने के लिए कहा है। इस बारे में पत्र लिखने के बाद में विज ने साफ कर दिया है कि उनके विभाग में गोलमाल नहीं चलेगा।
एमवीआई : वाहनों के फिटनेस सर्टिफिकेट का जिम्मा
आरटीए आफिस में एमवीआई अर्थात मोटर व्हीकल इंस्पेक्टर का वाहनों को फिटनेस सर्टिफिकेट देने का जिम्मा होता है। सुरक्षा और प्रदूषण मानकों की जांच का जिम्मा इस अधिकारी पर होता है। इसमें ही बड़ा खेल होता है। हर गाड़ी की पासिंग और उसकी फिटनेस समेत तमाम बातों को चेक किया जाता है। बताते हैं कि खराब गाड़ियों को पासिंग, कॉमर्शियल वाहनों को फिटनेस देने में अच्छी खासी सेवा होती है, इसलिए बड़ा खेल इस पोस्ट के लिए चलता है।
सीईआई : बड़े संस्थानों में बिजली मानकों को जांचते हैं
हरियाणा में चीफ इलेक्ट्रिकल इंस्पेक्टर का काम भी बेहद अहम होता है। बड़े संस्थानों में निरीक्षण के लिए जाने वाले इन अफसरों के आगे पीछे लोग घूमते हैं। सुरक्षा मानकों की जांच पड़ताल करने वाले इस पोस्ट के भ्रष्ट अधिकारी को भी अच्छी खासी ऊपरी आय होती है। हादसे और इलेक्ट्रिकल इंस्टालेशन में किसी भी तरह की लापरवाही औऱ खतरा नहीं हो, इस बात को सुनिश्चित करना होता है।